कहानी संग्रह >> सम्पूर्ण बाल रचनाएँ : अमृतलाल नागर सम्पूर्ण बाल रचनाएँ : अमृतलाल नागरअमृतलाल नगर
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नागरजी के सम्पूर्ण बालसाहित्य का संकलन
बच्चों से जुड़े ऐसे मूल्यवान चिंतन और विचारों से आजीवन स्फूर्तिवान रहे हैं मूर्धन्य साहित्यकार अमृतलाल नागर। लगभग 60 वर्षों लम्बी अवधि के अपने कालजयी लेखन में उन्होंने अत्यंत मनोयोग से बच्चों के लिए भी गद्य-पद्य में बहुत रोचक, ज्ञानवर्द्धक, विविधतापूर्ण और मनभावन साहित्य रचा है। नागरजी के सम्पूर्ण बालसाहित्य का यह संकलन उनकी रची अप्रतिम लोरी, पद्य-कथाओं, बच्चों के समकालीन जीवन तथा परिवेश से अनुस्यूत कहानियों-उपन्यासों, फंतासी-पगे जीवनचरितों एवं कल्पनाशील रेडियो नाटकों आदि के साथ ही अदभुत कथाख्यान-शैली के 'बाल महाभारत' का ऐसा संचयन है, जिसमें न केवल भारतीय बल्कि; विश्व-संस्कृति और सभ्यता की गूढ़ बातें भी बच्चों के लिए दैनंदिन जीवन के सामान्य ज्ञान की तरह उद्घाटित हुई हैं। 'बालमहाभारत', हिंदी बालसाहित्य में अमृतलाल नागर के सम्पूर्ण बालसाहित्य की यह प्रस्तुति, वस्तुतः साहित्य की मुख्यधारा के सामानांतर बच्चों के लिए भी लिखने वाले हिंदी के किसी मूर्धन्य साहित्यकार की एक जिल्द में प्रकाशित होकर सामने आ रही पहली-पहल है। इसलिए यह पठनीय भी है और संग्रहणीय भी।
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